Posts

Showing posts with the label bhagwadhari

परीक्षित के श्राप की कथा ।।

Image
-  ॐ नमो भगवते वासुदेवाय  -  ॐ भूरिदा भूरि देहिनो, मा दभ्रं भूर्या भर। भूरि घेदिन्द्र दित्ससि।   -  ॐ भूरिदा त्यसि श्रुत: पुरूत्रा शूर वृत्रहन्। आ नो भजस्व राधसि।  -  ॐ विष्णवे नम:   - ॐ हूं विष्णवे नम:  - ॐ आं संकर्षणाय नम:  - ॐ अं प्रद्युम्नाय नम:  - ॐ अ: अनिरुद्धाय नम:  - ॐ नारायणाय नम:  - ॐ ह्रीं कार्तविर्यार्जुनो नाम राजा बाहु सहस्त्रवान। यस्य स्मरेण मात्रेण ह्रतं नष्‍टं च लभ्यते।।  ॐ चतुर्मुखाय विद्महे, कमण्डलु धाराय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥  ॐ वेदात्मने विद्महे, हिरण्यगर्भाय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥  ॐ परमेश्वर्याय विद्महे, परतत्वाय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥ धर्म कथाएं विषय सूची [श्रीमद भागवद पुराण] श्रीमद भागवद पुराण [introduction] • श्रीमद भागवद पुराण [मंगला चरण] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध १] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध २] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ३] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ४] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ५] श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ६ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ७ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ८ श्रीमद्भागवद पुराण महात्मय का अठारहवां आध्यय [स्कंध १] (परीक्षित

विदुर, धृतराष्ट्र, गान्धारी का हिमालय गमन से मोक्ष प्राप्ति की कथा।।

Image
-  ॐ नमो भगवते वासुदेवाय  -  ॐ भूरिदा भूरि देहिनो, मा दभ्रं भूर्या भर। भूरि घेदिन्द्र दित्ससि।   -  ॐ भूरिदा त्यसि श्रुत: पुरूत्रा शूर वृत्रहन्। आ नो भजस्व राधसि।  -  ॐ विष्णवे नम:   - ॐ हूं विष्णवे नम:  - ॐ आं संकर्षणाय नम:  - ॐ अं प्रद्युम्नाय नम:  - ॐ अ: अनिरुद्धाय नम:  - ॐ नारायणाय नम:  - ॐ ह्रीं कार्तविर्यार्जुनो नाम राजा बाहु सहस्त्रवान। यस्य स्मरेण मात्रेण ह्रतं नष्‍टं च लभ्यते।।  ॐ चतुर्मुखाय विद्महे, कमण्डलु धाराय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥  ॐ वेदात्मने विद्महे, हिरण्यगर्भाय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥  ॐ परमेश्वर्याय विद्महे, परतत्वाय धीमहि, तन्नो ब्रह्म प्रचोदयात् ॥ श्रीमद्भागवद पुराण महात्मय का तेरहवॉं आध्यय [स्कंध १] विदुर, धृतराष्ट्र, गान्धारी का हिमालय गमन से मोक्ष प्राप्ति की कथा।।विदुर कौन थे? सूतजी कहने लगे-विदुर जी तीर्थ यात्रा में विचरते हुए मैत्रैय जी से मिल कर श्री कृष्ण चन्द्र की गति को जान के हस्तिनापुर में आये।  धर्म कथाएं विषय सूची [श्रीमद भागवद पुराण] श्रीमद भागवद पुराण [introduction] • श्रीमद भागवद पुराण [मंगला चरण] श्रीमद भागवद पुराण [स

परीक्षित के जन्म की कथा।।

Image
श्रीमद्भागवद पुराण महात्मय का बारहवॉं आध्यय [स्कंध १]भागवत (सुखसागर) की कथाएँ -- कलियुग का आगमन दोहा: अब द्वादश अध्याय में, जन्म परीक्षित हेतु ।। वर्णों जो जग सुख दिये, न्याय नेतिबनी सेतु ॥१२॥ शौनकजी बोले-अश्वत्थामा के चलाये हुए अत्यन्त तेज वाले ब्रह्मास्त्र से उत्तरा का गर्भ खंडन हुआ, फिर परमेश्वर श्री कृष्ण भगवान ने उसकी रक्षा की।  उस महान बुद्धिमान परीक्षित के जन्म और कर्मों को हमारे आगे कहो और उसकी मृत्यु जैसे हुई व जिस प्रकार देह को त्यागकर परलोक में गया और जिसके वास्ते शुकदेवजी ने ज्ञान दिया, सो यह सब हम सुनना चाहते हैं सो हमको सुनाओ।  सूतजी कहने लगे---- ----श्रीकृष्ण के चरणाविंदौ की सेवा करके सम्पूर्ण कामनाओं की इच्छा से रहित हुआ युधिष्ठिर राजा अपने पिता की तरह प्रजा को प्रसन्न रखकर पालन करने लगा। हे शौनकादिकों ! उस समय युधिष्ठिर राजा की सम्पत्ति और यश देवताओं के भी मन को ललचाने लायक थे।  परन्तु हे शौनकादि द्विजो! भगवान में मन रखने वाले उस राजा युधिष्ठिर को, श्रीकृष्ण के बिना यह सब कुछ अधिक प्रीति देने वाले नहीं हुए।  हे भृगुनन्दन! जब अपनी माता के गर्भ में वह शूरवीर बालक अस्त्र

युधिष्ठिर का भीष्म पितामह से सब धर्मों का सुनना।।

Image
धर्म कथाएं विषय सूची [श्रीमद भागवद पुराण] श्रीमद भागवद पुराण [introduction] • श्रीमद भागवद पुराण [मंगला चरण] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध १] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध २] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ३] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ४] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ५] श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ६ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ७ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ८ ▲───────◇◆◇───────▲▲───────◇◆◇───────▲▲───────◇◆◇───────▲ गज और ग्राह की कथा - भाग २ (सुख सागर कथा)गजेन्द्र मोक्ष।।  गज और ग्राह की कथा।। भाग १ (सुख सागर कथा) नवीन सुख सागर (श्रीमद भागवद पुराण)  -आठवां स्कन्ध प्रारम्भ  श्री नारद मुनि द्वारा मोक्ष लक्षण वर्णन।। श्रीमद भागवद पुराण चौदहवाँ अध्याय  [स्कंध७] नारद जी द्वारा विशेष धर्म कथन (गृहस्थाश्रम धर्म)  नारद जी द्वारा सिद्धि अवस्था तथा सन्यास आश्रम धर्म वर्णन।।  श्रीमद भागवद पुराण* बारहवां अध्याय * [स्कंध७] ( चारों आश्रमों के धर्म का वर्णन )  श्रीमद भागवद  पुराण महात्मय का नवम आध्यय [स्कंध १] दोहा-धर्म विनम जर धर्म कृम, भाष्यों भीष्म उचार।। सो नवमे अध्याय में वरण विविध प्रकार।। य

अश्वत्थामा का ब्रह्म अस्त्र छोड़ना।परीक्षित राजा के जन्म कर्म और मुक्ति की कथा।।

Image
श्रीमद्भागवद पुराण महात्मय का आठवाँ आध्यय [स्कंध १] दोहा-कहयो व्यास सों जन्म को नारद जी से हाल।। सोई षट् अध्याय में वर्णी कथा रासल।। अश्वत्थामा का बृह्माआस्तृ छोड़ना और श्रीकृष्ण द्वारा पंड़वो की रक्षा धर्म कथाएं विषय सूची [श्रीमद भागवद पुराण] श्रीमद भागवद पुराण [introduction] • श्रीमद भागवद पुराण [मंगला चरण] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध १] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध २] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ३] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ४] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ५] श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ६ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ७ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ८ सूतजी कहने लगे-इसके अनन्तर वे पांडव मरे हुए पुत्रों को तिलांजलि देने के वास्ते, द्रोपदी आदि स्त्रियों को आगे करके गङ्गाजी के तट पर गये तथा बारम्बार नहाये। फिर वहाँ छोटे भीमादिकों के सहित बैठे हुये राजा युधिष्ठिर, धृतराष्ट्र और पुत्रों के शोक से दुखी हुई गान्धारी, कुन्ती, द्रोपदी, इन सबों को मुनि जनों सहित श्रीकृष्ण सान्त्वना देने लगे, और जिन धूर्त दुर्योधन आदिकों ने युधिष्ठिर का राज्य हर लिया था, जो दुर्योधन आदि दुष्ट द्रोपदी के केश पकड़ने से नष्

बृह्मा द्वारा कर्मों के अनुसार भगवान नारायण के २४ अवतारों का वर्णन।।

Image
धर्म कथाएं विषय सूची [श्रीमद भागवद पुराण] श्रीमद भागवद पुराण [introduction] • श्रीमद भागवद पुराण [मंगला चरण] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध १] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध २] •  श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ३] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ४] श्रीमद भागवद पुराण [स्कंध ५] श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ६ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ७ श्रीमद भागवद पुराण स्कंध ८ बृह्मा द्वारा कर्मों के अनुसार भगवान नारायण के २४ अवतारों का वर्णन।।श्रीमद्भागवद्पूराण [स्कन्ध २] सातवां अध्याय* (भगवान का लीला अवतार वर्णन) दो-धारण होय अवतार जो जिन कर्म रूप आधार । सो सप्तम अध्याय में वरणू भेद विचार ।। Inside the Hindu mall. गर्भ से पिता को टोकने वाले अष्टावक्र ।।अष्टावक्र, महान विद्वान।। महाकाल के नाम पर कई होटल, उनके संचालक मुस्लिम क्या थे श्री कृष्ण के उत्तर! जब भीष्मपितामह ने राम और कृष्ण के अवतारों की तुलना की? A must read phrase from MAHABHARATA. श्री कृष्ण के वस्त्रावतार का रहस्य।। वृह्मा जी बोले-हे नारद ! अब प्रथम हम तुम्हारे सामने बाराह अवतार का सारांश में वर्णन करते हैं। भगवान की आज्ञानुसार जब मैंने पृथ्वी का नि